डिजिटल डेस्क,भोपाल। कई देशों में भिखारियों की स्थिति इतनी खराब हैं कि, उनके बदन में न कपड़ें हैं और न ही दो वक्त की रोटी। वो किसी तरह से अपनी जिंदगी काट रहे हैं लेकिन एक देश ऐसा हैं जहां के भिखारी आम जनता की तरह आधुनिक है। चीन में भिखारी दिन-प्रतिदिन आधुनिक हो रहे है। यहां भीख मांगने के लिए ई-पेमेंट और QR कोड का इस्तेमाल किया जाता है।
क्या हैं वजह
- चीन में तकनीकी इतनी उन्नत हैं कि, यहां के लोग कैश की जगह कार्ड लेकर चलते है।
- जिसकी वजह से भिखारियों को भीख नहीं मिल पाती थी।
- चीन में आम जनता कई बार छुट्टे पैसे ना होने का बहाना करते थे, इस वजह से भिखारी ई-वॉलेट का उपयोग कर रहे है।
- फाइनेंशियल एक्सप्रेस की एक रिपोर्ट के अनुसार, भिखारी QR कोड के साथ एक पेपर लेकर शहर के पर्यटन स्थलों या शॉपिंग मॉल जैसी जगहों पर खड़े रहते हैं क्योंकि ऐसी जगहों पर लोग ज्यादा संख्या में घूमने आते है।
- बता दें कि चीन की दो सबसे बड़ी ई-वॉलेट कंपनियां इस काम में भिखारियों की मदद करती हैं।
- एलिपे और वीचैट वॉलेट ने भिखारियों से साठगांठ कर ली है। भिखारी जैसे ही QR कोड की मदद से पैसे लेते हैं, तो देने वालों का डाटा कंपनियों के पास चला जाता है।
- और ये कंपनियां इस डाटा का इस्तेमाल अपने विज्ञापनों या फिर ऐसे ही किसी फायदे के लिए किया जाता है।
- हालांकि, चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने इस साल की शुरुआत में अपने देश को गरीबी-मुक्त घोषित किया है। ऐसा दावा करना वाला चीन दुनिया का पहला देश बन चुका है।
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